संस्कृत रचना - नास्ति बुद्धिरयुक्तस्य, न चायुक्तस्य भावना (Samskrit text - नास्ति बुद्धिरयुक्तस्य, न चायुक्तस्य भावना)
नास्ति बुद्धिरयुक्तस्य, न चायुक्तस्य भावना
नास्ति बुद्धिरयुक्तस्य, न चायुक्तस्य भावना।
न चाभावयतः शान्तिरशान्तस्य कुतः सुखम्।
हिन्दी में अर्थ
अयुक्त व्यक्ति की बुद्धि नहीं होती, अयुक्त व्यक्ति की भावना नहीं होती।
अभाव वाले व्यक्ति की शांति नहीं होती, अशांत व्यक्ति को सुख कहाँ से मिलेगा।
Meaning in English
The unsteady person has no wisdom, the unsteady person has no meditation.
The unmeditative person has no peace, how can the unpeaceful person have happiness?